RBI Monetary Policy Update:  नए साल पर आरबीआई ने दी निवेशकों को सौगात, घर खरीदारों के लिए आई बड़ी खबर, एचडीएफसी बैंक के निर्णय के बाद राहत भरी खबर

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रिजर्व बैंक ने मौद्रिक कमेटी की बैठक में लिए अहम निर्णय

एचडीएफसी बैंक के एमएलसीआर बढ़ाने के बाद राहत लेकर आई घोषणा

आरबीआई की मौद्रिक समिति की बैठक के बाद बृहस्‍पतिवार को रिजर्व बैंक गर्वनर शशिकांत दास ने नई मौद्रिक नीति की घोषणा की. नए साल 2024 में इस घोषणा के बाद होम लोन लेने वालों की जेब को फायदा मिलेगा. एचडीएफसी बैंक द्वारा ब्‍याज दरों में इजाफा किए जाने के बाद आरबीआई का यह निर्णय राहत भरी खबर है.

रियल एस्टेट सेक्टर में कुछ समय से जारी तेजी रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) की घोषणा के बाद नए साल पर भी जारी रहने की उम्‍मीद है. आरबीआई ने अपनी मौद्रिक नीति की समीक्षा के बाद इस वर्ष की पहली तिमाही में रेपो रेट नहीं बढ़ाने का ऐलान किया है. केंद्रीय बैंक ने इस तिमाही भी रेपो रेट को 6.50 फीसदी पर स्थिर रखने का ऐलान कर दिया है. आरबीआई के इस कदम से होम बायर्स से लेकर रियल एस्टेट सेक्टर को काफी राहत मिली है. बीते करीब एक साल से आरबीआई ने ब्‍याज दरें नहीं बढ़ाने का निर्णय लिया है. इसके बाद रियल एस्‍टेट सेक्‍टर और घर खरीदारों में खुशी की लहर है.

 

एचडीएफसी बैंक ने बढ़ाई थी ब्‍याज दरें

पिछले दिनों एचडीएफसी बैंक ने एमएलसीआर (मार्जिनल कॉस्‍ट ऑफ फंड्स बेस्‍ड लेंडिंग रेट्स) में बढ़ोतरी की थी. जिसके बाद ब्‍याज दरों में 0.10 प्रतिशत तक की बढ़ोतरी हुई थी. माना जा रहा था कि अन्‍य बैंक भी एमएलसीआर बढ़ा सकते हैं लेकिन चुनावी साल होने के चलते अब इसकी संभावना कम ही है. ऐसे में रिजर्व बैंक की घोषणा के बाद घर खरीदारों और निवेशकों ने खुशी दी है.

 

क्रेडाई ने जताई खुशी

क्रेडाई एनसीआर के अध्यक्ष व गौड़ ग्रुप के सीएमडी मनोज गौड़ का कहना है कि यह आरबीआई का शानदार निर्णय है. पिछले एक साल से आरबीआई ने रेपो रेट को 6.5 फीसदी पर लगातार बरकरार रखा है. रियल एस्टेट सेक्टर में लगातार अच्‍छी डिमांड बनी हुई है. कमर्शियल सेगमेंट भी असाधारण रूप से अच्छा प्रदर्शन कर रहा है. देश की अर्थव्यवस्था मजबूती से आगे बढ़ रही है. रेजिडेंशियल सेगमेंट भी पिछले वर्ष की गति को बनाए रखेगा. यह सेक्टर देश भर में पिछली तिमाहियों की तरह उछाल दिखाना जारी रखेगा. रिजर्व बैंक ने कर्ज लेने वालों के साथ साथ बैंकों को भी बड़ी राहत दी है.

 

 

सरकार ने दिया नए साल का तोहफा

ग्रुप 108 के मैनेजिंग डायरेक्‍टर संचित भूटानी ने कहा “साल की शुरुआत में भी रेपो रेट में कोई बदलाव नहीं करना स्वागत योग्य कदम है. फैसले से रियल एस्टेट को बूम मिलने जा रहा है. मध्यम आय वर्ग के लोगों को होम लोन पर ज्यादा ब्याज चुकाने की चिंता से राहत मिलेगी, वहीं दूसरी ओर कमर्शियल और रेजीडेंशियल दोनों ही प्रकार की प्रॉपर्टी की खरीद बढ़ेगी. आरबीआई का रेपो रेट न बढ़ाना सेक्‍टर के प्रति उनके बढ़ते विश्‍वास को और बेहतर बनाता है.

 

घर खरीदारों की चांदी

एसकेए ग्रुप के डायरेक्‍टर संजय शर्मा ने कहा कि आरबीआई की ओर से ब्याज दरों में फिर से बदलाव नहीं करने के फैसले का हम स्वागत करते हैं. दरें न बढ़ने से रियल एस्‍टेट सेक्‍टर पर निश्चित रूप से इसका अनुकूल प्रभाव पड़ता. इसमें कोई संदेह नहीं कि ब्‍याज दरें न बढ़ने से निवेशकों का विश्‍वास बढ़ेगा और रेजीडेंशियल प्रॉपर्टी की मांग में और तेजी आएगी.

 

देश की आर्थिक प्रगति तेजी से जारी

मिगसन ग्रुप के निदेशक यश मिगलानी ने कहा रिजर्व बैंक ने आज 2024 में अपनी पहली बैठक में भी रेपो रेट में कोई वृद्धि नहीं की है. जो निश्चित रूप से रियल एस्टेट सेक्टर के लिए फायदेमंद है. 2023 में पांच बार लगातार रिजर्व बैंक ने रेपो रेट में कोई परिवर्तन नहीं किया था. रिजर्व बैंक ने रेपो रेट को न बढ़ाने के पीछे देश में आर्थिक प्रगति को जारी रखने, महंगाई को काबू में रखने का भी ध्यान रखा है. खरीदारों के साथ-साथ निवेशकों के लिए भी यह काफी राहत भरी खबर है. रिजर्व बैंक ने कर्ज लेने वालों के साथ साथ कर्ज देने वाले बैंकों को भी बड़ी राहत दी है.

 

निवेशकों का उत्‍साह बढ़ेगा

ट्राइसोल रेड के मैनेजिंग डायरेक्‍टर पवन शर्मा ने कहा कि रेपो रेट एक बार फिर से नहीं बढ़ना रियल एस्‍टेट सेक्टर के लिए अच्छी खबर है. बीते एक साल में रेपो रेट का न बढ़ना रियल एस्टेट सेक्टर के लिए हर लिहाज से फायदेमंद साबित हुआ है. खरीदारों के साथ-साथ निवेशकों के लिए भी यह काफी राहत भरी खबर है. निश्चित रूप से इससे बाजार को और मजबूती मिलेगी.

 

ग्‍लोबल इकोनॉमी से प्रगति कर रहा भारत

स्‍पेक्‍ट्रम मेट्रो के वाइस प्रेजीडेंट (सेल्‍स एंड मार्केटिंग) अजेंद्र सिंह ने कहा कि रेपो रेट में एक बार फिर से किसी तरह का कोई बदलाव नहीं करना इस बात का संकेत देता है कि भारतीय अर्थव्यवस्था पूरी तरह मजबूत है. ग्लोबल इकोनॉमी की तुलना में भारत की आर्थिक स्थिति बेहतर है. हर लिहाज से आरबीआई द्वारा उठाया गया यह कदम कॉमर्शियल और रेजिडेंशियल रियल एस्टेट क्षेत्र के लिए बेहद लाभप्रद है. उम्मीद करते हैं कि यह पूरा साल निवेशकों के लिए अच्छा साबित हो.

 

घर खरीदारों व निवेशकों का मनोबल बढ़ाने वाला निर्णय

काउंटी ग्रुप के डायरेक्‍टर अमित मोदी ने कहा कि एक बार फिर से आरबीआई ने रेपो दर में किसी तरह का कोई बदलाव नहीं किया है जो निश्चित रूप से रियल एस्टेट सेक्टर के लिए फायदेमंद है. खासकर घर खरीदारों और निवेशकों का मनोबल और ऊंचा होगा. इससे स्पष्ट संकेत है कि देश की अर्थव्यवस्था लगातार अच्छा प्रदर्शन कर रही है.

 

एक्‍सपर्ट्स बोले

रियलिटी सेक्टर रेपो रेट बरकरार रखने के आरबीआई के फैसले का स्वागत करता है. आरबीआई के इस कदम से स्थिरता को बढ़ावा मिलेगा और घर खरीदारों और निवेशकों सहित स्टेकहोल्डर के बीच विश्वास बढ़ेगा. हालाँकि, 6.5% पर रेपो रेट 4 साल के उच्चतम स्तर पर बनी हुई है, और इसे वापस लेने से अफोर्डेबल हाउसिंग सेगमेंट को बढ़ावा मिलेगा.- नयन रहेजा, रहेजा डेवलपर्स

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मौजूदा रेपो रेट को बरकरार रखने के आरबीआई के फैसले को मंजूरी मिल गई है. जबकि रियल एस्टेट सेक्टर को थोड़ी कमी की उम्मीद थी, यह निर्णय स्थिरता को रेखांकित करता है. यह सकारात्मक माहौल हाउसिंग मार्केट में विकास और अवसर को बढ़ावा देता है, जिससे खरीदारों और डेवलपर्स दोनों को समान रूप से लाभ होता है.- कुशाग्र अंसल, निदेशक अंसल हाउसिंग

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रिजर्व बैंक ने 2024 की पहली बैठक में भी रेपो रेट में कोई बदलाव नहीं किया. रेपो रेट 6.50% पर स्थिर रहने और स्थिर ऋण दरों के प्रति आरबीआई एमपीसी की प्रतिबद्धता भारत के रियल एस्टेट क्षेत्र के लिए अच्छा संकेत है, खासकर घरों की बिक्री और होम लोन के मामले में. स्थिर दरों के साथ संभावित घर खरीदार आत्मविश्वास के साथ बाजार में आ सकते हैं, जिससे रेजिडेंशियल प्रॉपर्टी की मांग में वृद्धि होगी और होम लोन तक आसान पहुंच की सुविधा मिलेगी.- अश्विंदर आर.सिंह, सह-अध्यक्ष, सीआईआई, रियल एस्टेट के लिए एनआर समिति, सीईओ,भारतीय अर्बन

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बेस्ट एग्रोलाइफ लिमिटेड के सीएफओ संजीव खरबंदा ने आरबीआई के निर्णय का स्‍वागत किया है. उन्‍होंने कहा कि  रेपो दर को 6.5% पर अपरिवर्तित रखने का आरबीआई का निर्णय भारतीय अर्थव्यवस्था के लिए अच्छा संकेत है. यह विकास को गति देने के साथ-साथ मुद्रास्फीति को भी नियंत्रण में रखेगा. खाद्य पदार्थों की बढ़ती कीमतें गवर्नर द्वारा बताए गए नुकसानों में से एक थी. हमारा मानना है कि यह रणनीति अच्छा काम करेगी और कृषि रसायन क्षेत्र इस कदम का स्वागत करता है.

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