Bilkis Bano Gangrape Case: बिलकिस बानो केस के दोषियों की सजा में नहीं मिलेगी छूट, सुप्रीम कोर्ट ने दे दिया बड़ा आदेश, जानिए नए आदेश की पूरी डिटेल
न्यूज 1 भारत/ नई दिल्ली
बिलकिस बानो गैंगरेप केस के दोषियों को देश के सुप्रीम कोर्ट से बड़ा झटका लगा है. कोर्ट ने सभी दोषियों को सज़ा में मिली छूट के आदेश को रद्द कर दिया है. गैंगरेप के सभी 11 दोषियों की समय से पहले रिहाई रद्द होने के बाद अब ये सभी लोग वापस से जेल भेजे जाएंगे.
सुप्रीम कोर्ट 2002 के गुजरात दंगों के दौरान बिलकिस बानो के साथ सामूहिक बलात्कार और बिलकिस के परिवार के सात सदस्यों की हत्या में शामिल 11 दोषियों को दी छूट को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुनवाई की.
गुजरात सरकार को सजा माफी के फैसले का अधिकार नहीं है
याचिका पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि हर महिला पूरे सम्मान की हक़दार है. कोर्ट ने यह भी कहा कि इस मामले में गुजरात सरकार को सजा माफ़ी का फ़ैसला लेने का अधिकार ही नहीं था. इस केस का ट्रायल महाराष्ट्र में चलाया गया था, ऐसे में समय पूर्व रिहाई का निर्णय महाराष्ट्र सरकार ही ले सकती थी.
सुप्रीम कोर्ट ने आदेश में कहा, ‘राज्य, जहां अपराधी पर ट्रायल चलाया जाता है, सजा सुनाई जाती है. वहीं दोषियों की माफी याचिका पर फैसला किया जा सकता है. सक्षमता न होने के कारण गुजरात सरकार द्वारा छूट के आदेश को रद्द किया जाना चाहिए.’
यह था बिलकिस बानो गैंगरेप केस
साल 2002 में 21 साल की बिलकिस बानो 5 महीने की गर्भवती थीं, जब साम्प्रदायिक दंगों के दौरान उनका गैंगरेप किया गया था. उनकी तीन साल की बेटी सहित परिवार के 7 लोगों की दंगों में हत्या कर दी गई थी. जस्टिस बीवी नागरत्ना व जस्टिस उज्ज्वल भुइयां की बेंच ने 11 दिन की सुनवाई के बाद दोषियों की सजा में छूट को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर पिछले साल 12 अक्टूबर को आदेश सुरक्षित रख लिया था. सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र और गुजरात सरकार को 16 अक्टूबर तक 11 दोषियों की सजा में छूट संबंधी मूल रिकॉर्ड जमा करने का निर्देश दिया था.